'जाति' का जहर बोने घर-घर जाएगी कांग्रेस,जातियों की गणना करेगी कांग्रेस

मध्य प्रदेश कांग्रेस सरकार बनाने के लिए सारे दांव आजमा चुकी लेकिन उसके हाथ खाली रहे। अभ कांग्रेस ने प्रदेश के हर घर में 'जाति' का विष घोलने की तैयारी कर ली है। मतलब जब सरकार जाति आधारित जनगणना के लिए तैयार नही हुई तो कांग्रेस ने खुद ही जातियों की गणना करने का फैसला कर लिया है। महू में आयोजित कांग्रेस की जनसभा के दौरान कांग्रेस अध्यक्ष जीतू पटवारी ने खुद इस बात का ऐलान किया कि अगले एक साल तक मप्र कांग्रेस के कार्यकर्ता घर-घर जाकर खुद जातियों की जनगणना करेंगे। इससे कांग्रेस का संपर्क अभियान भी पूरा हो जाएगा और जाति आधारित जनगणना भी हो जाएगी। अब सवाल इस बात का उठता है कि देश में 60 साल से ज्यादा कांग्रेस की सरकार रही तब कांग्रेस ने कभी जाति आधारित जनगणना नहीं कराई लेकिन सत्ता से दूर होने के बाद कांग्रेस को जातियों की आद आ रही है। मतलब साफ है कि कांग्रेस को राजनीति के हर हथकंडे आजमाने के बाद भी जब कांग्रेस के हाथ सत्ता नहीं आई तो कांग्रेस ने देश को जातियों में बांटने का फैसला कर लिया और यही कारण है कि कांग्रेस जाति आधारित जनगणना की बात करने लगी है। जब देश का हर संत महात्मा हर जाति के इंसान को एक साथ रहने और जात-पांत की बात छोड़ने की सलाह दे रहा है उस वक्त कांग्रेस पार्टी देश भर में जाति से आधारित राजनीति कर सत्ता वापसी का सपना देख रही है। कांग्रेस को लगता है कि जाति का जिन्न जब बाहर आएगा तो उसको सियासी लाभ होगा उसके पीछे के साइड इफेक्ट पर कांग्रेस कोई विचार नहीं कर रही है। जातियों की जनगणना से मतलब साफ है कि जनता के बीच विद्वेश पैदा करना,आपस में लोगों का भाईचारा खत्म करना। क्योंकि इस देश में पहले से ही सामान्य,ओबीसी,एससी-एसटी को लेकर एक लंबा विवाद चल रहा है यहां तक की राजनीति में भी अब आरक्षण के हिसाब से टिकट दिए जा रहे हैं ऐसे में 'जाति' का बम जब जनता के बीच फूटेगा तो देश में एक अलग तरीके का विद्वेश देखने को मिलेगा।
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