रीवा के विकास को आज लगेंगे पंख,रीजनल कान्क्लेव में हजारों करोड़ का निवेश आने की संभावना,सीएम यादव करेंगे वन-टू-वन चर्चा

रीवा में प्रदेश की पांचवीं रीजनल इंडस्ट्री कॉन्क्लेव का आज आयोजन होने जा रहा है। इसका मुख्य उद्देश्य विंध्य क्षेत्र को निवेश और औद्योगिक अवसरों के केंद्र के रूप में स्थापित करना है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि वर्ष 2025 को ‘उद्योग एवं रोजगार वर्ष’ घोषित किया गया है। इसके दृष्टिगत प्रदेश में हुई आरआईसी को एक महत्वपूर्ण पड़ाव के रूप में देखा जा रहा है।रीवा स्थित कृष्णा राज कपूर ऑडिटोरियम में होने वाली कॉन्क्लेव में 4 हजार से अधिक प्रतिभागियों ने पंजीकरण कराया है, जिसमें 50 से अधिक प्रमुख निवेशक और 3 हजार से अधिक एमएसएमई उद्यमी शामिल होंगे। सम्मेलन का मुख्य फोकस राज्य के प्रमुख क्षेत्रों— ऊर्जा, खनन, कृषि, डेयरी, खाद्य प्र-संस्करण, पर्यटन एवं हस्तशिल्प में निवेश को प्रोत्साहित करने पर होगा। मुख्यमंत्री डॉ. यादव की इस पहल का उद्देश्य राज्य में निवेशकों और उद्यमियों के बीच एक सार्थक संवाद स्थापित करना है, जिससे औद्योगिक विकास के नए द्वार खुलेंगे। कॉन्क्लेव में राज्य सरकार के विभिन्न विभाग औद्योगिक नीति एवं निवेश प्रोत्साहन, एमएसएमई, आईटी, खनन, ऊर्जा और पर्यटन विभागों द्वारा प्रमुख प्रस्तुतियां दी जाएंगी। इसके अलावा नवीन एवं नवकरणीय ऊर्जा पर एक विशेष राउंडटेबल-सत्र भी आयोजित किया जाएगा, जिसमें उद्योग के उभरते अवसरों और चुनौतियों पर विचार-विमर्श होगा। चार सेक्टोरल-सत्र भी होंगे, जो एमएसएमई, स्टार्टअप्स, खनन एवं खनिज, पर्यटन और कुटीर उद्योगों में निवेश अवसरों पर केंद्रित होंगे।
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