सीएम की तरकश में अभी और कई तीर बांकी...
मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान (Shivraj Singh Chouhan) कांग्रेस के लिए बड़ी चुनौती बनते चले जा रहे हैं। उनकी सभाओं में बढ़ रही महिलाओं की भीड़ ने कमलनाथ की नींद उड़ा दी है। कांग्रेस का कोई कार्ड मुख्यमंत्री के सामने नहीं चल पा रहा है। इसी फस्ट्रेशन में कांग्रेस ने फर्जी लेटर कांड गढ़ डाला। मुख्यमंत्री ना केवल महिलाओं के लिए बल्कि सभी समुदायों के लिए कोई ना कोई घोषणा कर रहे हैं। और सिर्फ घोषणाएं ही नहीं कर रहे उनका तत्काल क्रियान्वयन भी सीएम करवाते जा रहे हैं। इसी कारण कमलनाथ का कोई पत्ता नहीं चल पा रहा है। रीवा में लाड़ली बहना योजना के अंतर्गत तीसरी किस्त देने के बाद मुख्यमंत्री राखी के पहले 27 तारीख को कोई बड़ी घोषणा करने जा रहे हैं जिसका केन्द्रबिंदु भी लाड़ली बहने ही रहेंगी। मुख्यमंत्री ने पहले ही घोषणा कर रखा है कि लाड़ली बहना योजना की राशि धीरे-धीरे बढ़ाकर 3000 रुपये तक की जाएगी। प्रदेश में सवा करोड़ लाभार्थी महिलाओं का वोट बैंक बनाने का मतलब है कि मुख्यमंत्री ने इतने ही परिवारों को अपने साथ जोड़ लिया है। क्योंकि महिलाएं परिवार की धुरी होती हैं उनको अपने तरफ करने का मतलब है कि मुख्यमंत्री ने एक बड़ा वोटबैंक भाजपा की तरफ मोड़ लिया है। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने प्रधानमंत्री मोदी के लाभार्थी वोटबैंक की तर्ज पर मध्यप्रदेश में महिलाओं का वोटबैंक तैयार कर लिया है। जाहिर है कांग्रेस के पास मुख्यमंत्री जैसा महिलाओं में लोकप्रिय नेता नहीं है। इस मामले में कमलनाथ उनके समक्ष खड़े भी नहीं हो सकते। मुख्यमंत्री ने 12वीं में प्रथम श्रेणी में आने वाली बच्चियों को स्कूटी देने की घोषणा भी की है। इस घोषणा से भी भाजपा का वोटबैंक मजबूत होगा क्योंकि स्कूटी पूरे परिवार के काम आएगी। खास बात यह है कि यह स्कूटी इलेक्ट्रिकल होगी यानि पेट्रोल का टेंशन नहीं होगा। इस योजना को भी सीएम शिवराज का मास्टर स्ट्रोक माना जा रहा है। बीस अक्टूबर तक सीएम शिवराज लाड़ली बहनों के खाते में करीब छह किस्त डाल चुके होंगे और फिर नवंबर में चुनाव होना है इसलिए माना जा रहा है कि लाड़ली बहना योजना सीएम शिवराज के लिए और सरकार के लिए महत्वपूर्ण कड़ी साबित होने वाली है। अब कांग्रेस पार्टी यह योजना तैयार कर रही है कि सीएम की घोषणाओं का तोड़ कैसे निकाला जाए।

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