कांग्रेस की जीत में रोड़ा बने 'जीतू पटवारी' पर्दे के पीछे से चार पत्रकार चला रहे कांग्रेस
देश भर की राजनीतिक पार्टिया लोकसभा चुनाव (lok sabha elections) जीतने की रणनीति बनाने में जुटी हैं। लेकिन एमपी कांग्रेस (mp congress) के अध्यक्ष जीतू पटवारी (jitu patwari) कांग्रेस को खाली करने में लगे हैं। जिस दिन से कांग्रेस के केन्द्रीय नेत्रृत्व ने जीतू पटवारी को प्रदेश अध्यक्ष की कमान सौंपी है उसी दिन से कांग्रेस में पलायन का दौर शुरु हुआ जो अब तक निरंतर जारी है। जीतू पटवारी के पीसीसी चीफ बनने के बाद से अब तक करीब 16 हजार से ज्यादा कार्यकर्ता पार्टी छोड़ भाजपा की सदस्यता ग्रहण कर चुके हैं। इन दिनों एक और बात भी निकल कर सामने आ रही है कि एमपी कांग्रेस को पर्दे के पीछे से चार पत्रकार चला रहे हैं। वो पत्रकार अक्सर जीतू पटवारी के निवास पर पाए जाते हैं। इनके अलावा जो भी पत्रकार जीतू पटवारी से मिलने जाता है कुछ देर बैठ कर बात करना चाहता है उसको जीतू पटवारी बड़े ही आदर भाव से चलता करते हैं। जीतू पटवारी पहले पत्रकार के कंधे पर हाथ रखते हैं कुछ देर इधर-उधर घुमा कर कुछ बातें करते हुए कहते हैं कि तू तो मेरा भाई है और फिर बड़े प्यार से गेट के बाहर का रास्ता दिखा देते हैं। जीतू पटवारी के अध्यक्ष बनने पर लोगों को लगा था कि युवा चेहरे को मौका मिला है कुछ नया और अच्छा बदलाव देखने को मिलेगा। लेकिन जीतू पटवारी की अकड़ ने कुछ नया करने की बजाय पार्टी को और गर्त में डालने का काम किया है। पार्टी के कितने कार्यकर्ता छोड़ कर भाजपा में जा चुके हैं उन्हे तो ये भी नहीं मालूम मीडिया कर्मियों से जीतू पटवारी पूछते नजर आते हैं कौन छोड़ कर चला गया।

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