मंत्रिमंडल पर तस्वीर अब तक नहीं हुई साफ,ओबीसी पर फोकस
एमपी में भाजपा की राजनीति का केन्द्र लगातार ओबीसी बना हुआ है (mp politics)। पार्टी नेताओं की दिल्ली में हाई कमान के साथ हुई बैठक में प्रदेश के नेताओं को भी अवगत कराया गया है। मंत्रिमंडल विस्तार में भी इसकी झलक दिखाई देगी (mohan cabinet)। बैठक में शामिल हुए प्रदेश के सभी बड़े नेताओं की ओर से प्रस्तावित नाम की सूची भी हाई कमान के पास है। लेकिन इस पर किसी तरह का अंतिम निर्णय नहीं लिया गया है। बताया जा रहा है कि अब केंद्रीय मंत्री अमित शाह, पार्टी अध्यक्ष जेपी नड्डा और राष्ट्रीय संगठन महामंत्री बीएल संतोष द्वारा अंतिम सूची तैयार की जाएगी। बैठक में हाई कमान ने मंत्रियों के चयन के लिए अलग- अलग तरह के पैरामीटर (मानक) बनाए हैं इस आधार पर मंत्रियों का चयन होगा। प्रदेश में मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव (mohan yadav) प्रदेश संगठन और संघ द्वारा प्रस्तावित नामों की सूची भेजी गई है। इसके अलावा राष्ट्रीय महासचिव विजय वर्गी और पूर्व केंद्रीय मंत्री प्रहलाद पटेल से भी सुझाव लिए गए हैं। बैठक में यह भी योजना तैयार की गई है कि भ्रष्टाचार के दाग या छवि खराब होने वाले विधायकों को मंत्रिमंडल में शामिल नहीं किया जाएगा। जो नेता कई वर्षों से कैबिनेट में रहे हैं उन्हें भी इस मंत्रिमंडल में स्थान नहीं दिया जाएगा। जिन दावेदारों के नाम पर सहमति बनेगी उनका जाति, वर्ग और क्षेत्रीय समीकरणों के आधार पर चयन किया जाएगा। मंत्रिमंडल में लोकसभा चुनाव का अनुमान और विधानसभा चुनाव के परिणाम को भी ध्यान में रखा जाएगा। जिन दावेदारों के नाम पर अंतिम मोहर लगेगी उनमें से संघ और भाजपा संगठन की सहमति अवश्य ली जाएगी।

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