प्रसूताओं का 'मोहन' सरकार ने छोड़ा साथ,56 करोड़ रुपये देना बांकी,भटकने को मजबूर प्रसूताएं
मप्र की तत्कालीन शिवराज सरकार (shivraj government) ने मुख्यमंत्री प्रसूति सहायता योजना (mukhyamantri prasuti yojana) शुरु की थी। लेकिन विधानसभा चुनाव के बाद इस महत्वाकांक्षी योजना को शायद मोहन सरकार भूल गई है। Mukhabirmp.com को मिली जानकारी के अनुसार प्रदेश की 35 हजार प्रसूताओं के 55 जिलों में 56 करोड़ रुपये अटके पड़े हैं। पिछले तीन माह से इन्हे राशि नहीं मिली है। बताया जा रहा है कि योजना के तहत प्रसूताओं को दी जाने वाली राशि का बजट राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन (एनएचएम) को अक्टूबर से नहीं मिला है। जिसके कारण प्रदेश भर के जिला अस्पताल कार्यालय में प्रसूताओं की सहायता राशि के लिए प्रकरण बड़ी संख्या में लंबित हो गए हैं। भोपाल में करीब 385,नर्मदापुरम में 1050 और बैतूल में 1346 प्रकरण लंबित हैं इसी प्रकार प्रदेश के सभी जिलों की हालत है। प्रसूताओं के परिजन राशि के लिए लगातार चक्कर काट रहे हैं। और अधिकारी उन्हे बजट आने पर राशि खाते में डालने का आश्वासन दे रहे हैं। गौरतलब है कि पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने प्रसूति सहायता योजना शुरु की थी। इसमें सरकारी अस्पताल में प्रसव पर महिला को 16 हजार रुपये दिये जाते हैं। योजना के तहत प्रसव से पहले पोषण के लिए चार हजार और प्रसव के बाद 12 हजार रुपये जच्चा-बच्चा के लिए मिलते हैं। प्रदेश में कुपोषण को दूर करने और हाई रिस्क महिलाओं के सुरक्षित प्रसव के लिए शिवराज सरकार ने प्रसूता सहायता योजना शुरु की थी। इसमें जच्चा-बच्चा के लिए लड्डू सहित अन्य पोषण आहार दिया जाता है।

What's Your Reaction?






